1
इस्राएल यह कहे, कि यदि हमारी ओर यहोवा न होता,
2
यदि यहोवा उस समय हमारी ओर न होता जब मनुष्यों ने हम पर चढ़ाई की,
3
तो वे हमको उसी समय जीवित निगल जाते*, जब उनका क्रोध हम पर भड़का था,
4
हम उसी समय जल में डूब जाते और धारा में बह जाते;
5
उमड़ते जल में हम उसी समय ही बह जाते।
6
धन्य है यहोवा, जिसने हमको उनके दाँतों तले जाने न दिया!
7
हमारा जीव पक्षी के समान चिड़ीमार के जाल से छूट गया*; जाल फट गया और हम बच निकले!
8
यहोवा जो आकाश और पृथ्वी का कर्ता है, हमारी सहायता उसी के नाम से होती है।